बच्चों में डिजिटल शिक्षा के प्रति बढ़ा उत्साह, 9 वर्षों से संस्था कर रही नि:शुल्क सेवा
मेरठ संवाददाता एन 20 न्यूज
मेरठ ।डिजिटल इंडिया के इस युग में समाज के हर वर्ग तक कंप्यूटर शिक्षा पहुँचाने के उद्देश्य से कार्य कर रही तेजस फाउंडेशन ने बुधवार को नेशनल पब्लिक स्कूल सरधना में एक भव्य कार्यक्रम आयोजित किया। कार्यक्रम में फाउंडेशन द्वारा कंप्यूटर प्रशिक्षण प्राप्त कर चुके छात्रों को सफलता प्रमाणपत्र प्रदान किए गए। कार्यक्रम के दौरान छात्रों तथा अभिभावकों में खासा उत्साह देखने को मिला।तेजस फाउंडेशन मेरठ पिछले लगातार 9 वर्षों से विभिन्न जिलों में बच्चों, युवाओं और जरूरतमंद वर्गों को निःशुल्क कंप्यूटर एवं डिजिटल प्रशिक्षण प्रदान कर रहा है। अब तक संस्था हजारों छात्रों को प्रशिक्षित कर उन्हें प्रमाणपत्र प्रदान कर चुकी है, जिससे उन्हें आगे की पढ़ाई, प्रतियोगी परीक्षाओं और रोजगार के अवसरों में प्रत्यक्ष लाभ मिला है। संस्था मेरठ के अलावा मुजफ्फरनगर, सहारनपुर, बागपत, हापुड़ सहित कई जिलों में अपनी सेवाएँ दे रही है। कार्यक्रम की मुख्य अतिथि एवं फाउंडेशन की सचिव डॉ. मोनिका पटेल ने प्रशिक्षित छात्रों को प्रमाणपत्र वितरित करते हुए कहा कि आज का युग डिजिटल तकनीक का युग है। ऐसे में बच्चों को कंप्यूटर शिक्षा से जोड़ना समय की आवश्यकता है। उन्होंने छात्रों को मेहनत और लगन से आगे बढ़ने की प्रेरणा दी तथा सभी के उज्ज्वल भविष्य की शुभकामनाएँ दीं।तेजस फाउंडेशन के डायरेक्टर आफाक चौहान ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि संस्था का मकसद समाज के प्रत्येक उस तबके तक कंप्यूटर शिक्षा पहुँचाना है, जो आर्थिक या सामाजिक कारणों से डिजिटल ज्ञान से वंचित रह जाता है। उन्होंने बताया कि फाउंडेशन “शिक्षा का उजियारा हर घर तक” पहुँचाने के मिशन पर कार्य कर रहा है और इसी सोच के चलते सभी प्रशिक्षण पूरी तरह निःशुल्क उपलब्ध कराए जा रहे हैं।प्रमाणपत्र प्राप्त करने के बाद छात्रों के चेहरे खुशी से खिल उठे। अभिभावकों ने भी फाउंडेशन की इस पहल की सराहना करते हुए कहा कि संस्था द्वारा निःशुल्क कंप्यूटर प्रशिक्षण दिया जाना समाज के लिए अत्यंत लाभकारी है, क्योंकि डिजिटल शिक्षा के बिना आज किसी भी क्षेत्र में आगे बढ़ना कठिन है।नेशनल पब्लिक स्कूल प्रबंधन ने भी तेजस फाउंडेशन के कार्यों की सराहना की और भविष्य में भी ऐसे कार्यक्रम विद्यालय में आयोजित करने की इच्छा जताई। विद्यालय प्रशासन ने कहा कि इससे न केवल छात्रों का ज्ञान बढ़ता है बल्कि उनमें तकनीक के प्रति रुचि भी विकसित होती है।

